‘क्रांतिकारी मजदूर व किसान आंदोलन की राह की चुनौतियां एवं हमारे कार्यभार’

January 24, 2023 0 By Yatharth

कन्वेंशन सफलतापूर्वक संपन्‍न

दिल्ली, 29 दिसंबर 2022 : मजदूर वर्ग के क्रांतिकारी नेता कामरेड सुनील पाल के13वीं शहादत दिवस के अवसर पर इफ्टू (सर्वहारा) और सर्वहारा जनमोर्चा द्वारा गांधी शांति प्रतिष्‍ठान में संयुक्त रूप से आहुत केंद्रीय कन्वेंशन सफलतापूर्वक संपन्‍न हुआ। दिल्ली के गांधी शांति प्रतिष्ठान में सुबह 10 से शाम 5 बजे तक चले इस कन्वेंशन का विषय था “क्रांतिकारी मजदूर व किसान आंदोलन की राह की चुनौतियां एवं हमारे कार्यभार” जिस पर विचार विमर्श करने हेतु आधार प्रपत्र को तैयार करने की जिम्‍मेवारी आयोजकों (सर्वहारा जनमोर्चा और इफ्टू सर्वहारा) ने  पीआरसी सीपीआई (एमएल) को दी थी। इस जिम्‍मेवारी को स्वीकृत करके पीआरसी ने इस जिम्‍मेवारी को पूरा करने का दायित्‍व अपने महासचिव कामरेड अजय सिन्हा को दिया। ज्ञातव्‍य हो कि कॉमरेड अजय सिन्‍हा द्वारा तैयार किया गया आधार पत्र कन्वेंशन में उन्हीं के द्वारा पेश वक्‍तव्‍य के रूप में प्रस्तुत किया गया। आधार पत्र की फाइनल अंग्रेजी व हिंदी प्रति सभी आमंत्रित साथियों को कन्वेंशन से एक दिन पहले भेज दी गई थी।

सभागार में इफ्टू (सर्वहारा) और सर्वहारा जनमोर्चा की ओर से दिल्ली, बंगाल, बिहार, यूपी और महाराष्ट्र से आए करीब 100 प्रतिनिधि (जिसमें मजदूर वर्ग से आए साथियों की संख्या 75 से अधिक थी) उपस्थित थे। भारत के मजदूर वर्गीय क्रांतिकारी आंदोलन की विभिन्न पार्टियां, संगठन व समूहों ने उपरोक्त विषय पर हुए विमर्श में पूरी गंभीरता के साथ हिस्सा लिया। कुल 13 संगठनों के आधिकारिक वक्ताओं ने आधार पत्र की प्रस्तुति के बाद मंच से अपने विचार प्रस्तुत किए। इसमें शामिल थे – पी जे जेम्स (महासचिव, भाकपा माले रेड स्टार), लखविंदर (मुक्ति संग्राम मजदूर मंच), अलिक चक्रवर्ती (केंद्रीय कमेटी सदस्य, टीयूसीआई), खीमानंद (अध्यक्ष, इमके), मुकेश असीम (सर्वहारा जन मोर्चा, महाराष्ट्र और संपादक मंडल सदस्य, ‘द ट्रुथ’ व ‘यथार्थ’ पत्रिका), पी के शाही (केंद्रीय कमेटी सदस्य, भाकपा माले क्लास स्ट्रगल), आलोक (मजदूर एकता केंद्र), श्रेया (मेहनतकश पत्रिका), अर्जुन प्रसाद सिंह (डेमोक्रेटिक पीपल्स फ्रंट), राजेंद्र प्रसाद सिंह (मंथन पत्रिका, यूपी), विक्रम (देश विदेश पत्रिका), रघुबीर सिंह (जन संघर्ष मंच हरियाणा), सुभाष (श्रमिक संग्राम कमेटी)। सभी वक्ताओं ने विषय पर अपने विचार रखने के साथ क्रांतिकारी आंदोलन में इस साझा विमर्श की पहल को सराहा और आगे इसे जारी रखने की मांग की और इसके लिए प्रोत्साहन दिया। सभी वक्तव्यों की लाइव रिकॉर्डिंग इफ्टू (सर्वहारा) के इस फेसबुक पेज पर उपलब्ध है। इसका लिंक : fb.com/sarwaharaiftu है।

इसके अतिरिक्त कम्युनिस्ट प्रॉपगैंडा फोरम, तमिलनाडु और क्रांतिकारी मजदूर मोर्चा, फरीदाबाद की ओर से कन्वेंशन के आधार पत्र पर लिखित वक्तव्य भेजा गया। साथ ही, लाल झंडा मजदूर यूनियन (समन्वय समिति), कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ तमिल नाडु (एमएलएम), और न्यू डेमोक्रेटिक लेबर फ्रंट (तमिलनाडु पांडिचेरी) द्वारा कन्वेंशन की सफलता की कामना करते हुए लिखित अभिवादन संदेश भेजे गए थे। इन सबका जिक्र अध्यक्ष मंडल द्वारा मंच से किया गया। इन संगठनों के अतिरिक्त रिवॉल्यूशनरी डेमोक्रेसी पत्रिका (से कामरेड विजय सिंह), कामरेड स्वदेश सिन्हा, चौपाल (से कमलेश कमल), भगत सिंह छात्र एकता मंच, युवा संघर्ष मंच, कलेक्टिव, क्रांतिकारी लोक अधिकार संगठन, मोर्चा पत्रिका और कुछ अन्य छात्र व बुद्धिजीवी कन्वेंशन सभागार में उपस्थित थे। सभागार में आयोजकों के अलावा सर्वहारा प्रकाशन, गार्गी प्रकाशन, और अंतरराष्ट्रीय प्रकाशन ने पुस्तक स्टाल लगाकर साथियों के लिए महत्वपूर्ण क्रांतिकारी साहित्य भी उपलब्ध कराया। ‘गो रेड’ के साथियों ने पोस्टर स्टाल लगाकर बेहतरीन क्रांतिकारी पोस्टर उपलब्ध कराए।

कन्वेंशन की शुरुआत बिहार की सर्वहारा जनमोर्चा की साथी कामरेड कंचन के स्वागत भाषण से हुई जिन्‍होंने अध्‍यक्ष मंडल का नाम भी प्रस्‍तावित किया जिसे सभागार में बैठे साथियों ने तालियों की गड़गड़ाहट से पारित किया। अध्‍यक्ष मंडल द्वारा विश्‍व कम्‍युनिष्‍ट, प्रगतिशील व जनवादी आंदोलन के तमाम शहीदों को याद करते हुए दो मिनट का मौन धारण करने का कार्यक्रम करने के बाद सभी अगुआ प्रतिनिधियों द्वारा हमारे संगठन एवं आंदोलन के तमाम शहीद साथियों के फोटो पर माल्‍यार्पण करते हुए श्रद्धांजलि अर्पित की गई। कार्यक्रम की अध्यक्षता संयुक्त रूप से कामरेड आकांक्षा (बिहार), रामदयाल (दिल्‍ली), रामनरेश (यूपी) और रामचरित्र (बंगाल) द्वारा की गई। विमर्श के दोनों सत्रों की शुरुआत में बंगाल व बिहार की सांस्कृतिक टीमों द्वारा दो क्रांतिकारी गीत (“लाल झंडा जान से भी प्यारा है” और “जमाना बदलेगा”) प्रस्तुत किए गए जिसमें कामरेड कौशिक, रेखा, सत्येंद्र, अर्जुन, शैली, उमेश निराला, यश, आदि शामिल थे।

सभी वक्तव्य प्रस्तुत हो जाने के बाद कामरेड अजय सिन्हा द्वारा विमर्श का (समय की कमी के कारण संक्षिप्त) सारांश प्रस्तुत किया गया तथा जल्द विमर्श को आगे बढ़ाने हेतु दिये गये वक्‍तव्‍यों के औपचारिक व सारांश के आधार पर जवाब जारी करने, सभी को प्रकाशित करने और फिर कन्वेंशन में उपस्थित व किसी कारण अनुपस्थित रह गये अन्‍य क्रांतिकारी ताकतों के साथ एक और छोटी और ज्‍यादा गठी हुई ”फॉलो अप” बैठक करने का आश्‍वासन दिया गया। अध्यक्ष मंडल की ओर से कामरेड आकांक्षा ने इसका अनुमोदन भी किया। अंत में कामरेड सिद्धांत के धन्यवाद ज्ञापन के साथ बाद औपचारिक रूप से कन्वेंशन का समापन किया गया।